मध्यप्रदेश

MP में मतदान खत्म होने के बाद सामने आया दिग्विजय सिंह का डर, क्यों लगा रहे स्ट्रांग रूम के चक्कर

 राजगढ़

 दिग्विजय सिंह को आखिर किस बात का डर सता रहा है? दरअसल, राजगढ़ प्रत्याशी दिग्विजय सिंह गुना के बाद राजगढ़ में ईवीएम की पहरेदारी करने पहुंच गए हैं. दिग्विजय सिंह स्टेडियम परिसर स्थित स्ट्रांग रूम के बाहर कंट्रोल रूम पहुंचे, वहां उन्होंने EVM मशीनों के लिए की गई प्रशासन की तरफ से थ्री लेयर सुरक्षा व्यवस्था के बारे में जानकारी ली. उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के आदेश के उल्लंघन के आरोप लगाए हैं.

ये सुप्रीम कोर्ट के आदेश का उल्लंघन

दिग्विजय सिंह स्ट्रांग रूम के बाहर करीब 40 मिनट से अधिक समय तक रुके. स्ट्रांग रूम से बाहर आने के बाद पत्रकारों से चर्चा में उन्होंने कहा, "23 अप्रैल को माननीय उच्चतम न्यायालय द्वारा एक आदेश विस्तृत रूप से जारी किया गया था कि EVM मशीनों के सिंबल लोडिंग यूनिट कमिश्निंग के बाद उनको डीईएल या ईसीएल को लौटाया नहीं जाना चाहिए. उसे कलेक्टर साहब के हिफाजत में अंडर लॉकिंग के स्टोर किया जाना चाहिए या बॉक्स के अंदर. इसके लिए डिटेल में आर्डर जारी किया था. दिग्विजय सिंह ने कहा कि लेकिन इसके बाद चुनाव आयोग ने निर्देश निकाले हैं, उसमें उन्होंने कह दिया है कि 1 मई या उसके बाद से रखे जाएंगें, बाकी के लौटा दिए जाएगें. जो कि माननीय सुप्रीम कोर्ट के आदेश के विपरित है. इसे मैं चैक कर रहा हूं कि कैसे हुआ है या कैसे नहीं हुआ है."

    राजगढ़ से पहले दिग्विजय सिंह गुना भी पहुंचे थे. उन्होंने कहा, "गुना में इसे लेकर समझदारी से काम हुआ है. गुना कलेक्टर ने इसी विषय को लेकर निकले आदेश में कहा है कि उन्हें लौटाने को लेकर आयोग लिखित में दे, तो वो लौटा देंगे. गुना कलेक्टर ने उस यूनिट को अपनी ट्रेजरी में रख दिया, लेकिन राजगढ़ कलेक्टर ने उन्हें वापस लौटा दिया."

दिग्विजय सिंह को है ये शक!

दिग्विजय सिंह ने आरोप लगाते हुए आगे कहा, "हमारी हमेशा चुनाव आयोग से शिकायत रही है कि सिंबल लोडिंग यूनिट में सॉफ्टवेयर क्या डाला जाता है इस पर हमें शक है. इसको लेकर मैं चुनाव आयोग जाऊंगा व माननीय सुप्रीम कोर्ट में चर्चा करेगें." वहीं दिग्विजय सिंह ने लोकसभा चुनाव को लेकर कहा कि 28 में से कांग्रेस अधिक से अधिक सीटें जीतेगी.

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