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209 रुपए में अंतरिक्ष की सैर कर सकेंगे भारतीय मिल रहा है सुनहरा मौका

नई दिल्‍ली
अमेरिका की स्‍पेस एक्‍सप्‍लोरेशन एंड रिसर्च एजेंसी (SERA) ने भारत को अपने स्पेस मिशन में शामिल किया है। इस मिशन में भारत के लोग भी अंतरिक्ष की सैर कर सकेंगे। यह मिशन दिग्‍गज उद्योगपति जेफ बेजोस की Blue Origin कंपनी के New Shepard रॉकेट से पूरा होगा। SERA दुनियाभर के लोगों को अंतरिक्ष में भेजने के लिए काम कर रही है। SERA और Blue Origin मिलकर उन देशों को मौका दे रहे हैं जिनके पास अंतरिक्ष में जाने के लिए ज्‍यादा संसाधन नहीं हैं। इस मिशन के जरिये भारत अंतरिक्ष में अपनी जगह और मजबूत कर सकेगा।

इस मिशन के लिए Blue Origin के New Shepard रॉकेट का इस्तेमाल होगा, जो दोबारा इस्तेमाल किया जा सकता है। यह रॉकेट लोगों को अंतरिक्ष की सीमा पार कराएगा, जहां से धरती का नजारा देखने लायक होगा।

भारत को शाम‍िल करने से SERA उत्‍साह‍ित

SERA के संस्थापक जोशुआ स्‍कुर्ला और सैम हचिसन ने इस मिशन में भारत को शामिल करने पर काफी उत्साह जताया है। उनका मानना है कि भारत की अंतरिक्ष में दिलचस्पी और उसका अनुभव इस मिशन को सफल बनाने में काफी मददगार साबित होगा। स्‍कुर्ला ने बताया, 'हमें भारत के साथ काम करने में खुशी है क्योंकि भारत के पास अंतरिक्ष के क्षेत्र में काफी अनुभव है। भारत दूसरे देशों के लिए एक मिसाल बन सकता है। अपनी ताकत दिखा सकता है। इसलिए हमारी दिलचस्पी बनी रही।'

इस मिशन में जाने के लिए कोई भी भारतीय आवेदन कर सकता है। आवेदन करने के लिए बस 2.5 डॉलर यानी लगभग 209 रुपये देने होंगे। इसके बाद लोगों की वोटिंग के जरिये छह लोगों को चुना जाएगा जो इस मिशन का हिस्सा बनेंगे। वोटिंग तीन चरणों में होगी। हर चरण में कुछ लोग बाहर होते जाएंगे। आखिर में छह लोग चुने जाएंगे। पांच सीटों के लिए देश और क्षेत्र के हिसाब से वोटिंग होगी। जबकि छठी सीट के लिए दुनियाभर के लोग वोट कर सकेंगे।

150 से ज्‍यादा देशों के लोगों को अंतरिक्ष तक पहुंचाना मकसद

SERA का मकसद दुनिया के 150 से ज्‍यादा देशों के लोगों को अंतरिक्ष तक पहुंचाना है, खासकर उन लोगों को जिनके पास अंतरिक्ष में जाने के ज्‍यादा मौके नहीं हैं। स्‍कुर्ला का कहना है, 'हमारा मिशन है कि हम अंतरिक्ष को सभी के लिए आसान बनाएं। हम चाहते हैं कि दुनिया का हर व्यक्ति अंतरिक्ष की खोज में अपनी भूमिका निभा सके।'

इस मिशन में जाने के लिए लोगों को Blue Origin के कुछ शारीरिक मानकों पर खरा उतरना होगा। जो लोग चुने जाएंगे उन्हें Blue Origin के लॉन्च साइट पर तीन दिन की ट्रेनिंग दी जाएगी।

हचिसन का कहना है कि लोगों को अपने हीरो चुनने का मौका देकर हम यह सुनिश्चित करते हैं कि यह मिशन लोगों के लिए है। यह तरीका लोगों में अंतरिक्ष के बारे में उत्सुकता जगाएगा। दुनियाभर के देशों को साथ लाएगा। New Shepard की उड़ान के लिए ज्‍यादा कड़ी शारीरिक जरूरतें नहीं हैं जिससे ज्‍यादा से ज्‍यादा लोग इसमें हिस्सा ले सकेंगे।

फिल जॉयस ने बताया कि इस मिशन का मकसद सभी को साथ लेकर चलना है। यह मिशन भारत के लिए एक बड़ा मौका है। इससे न सिर्फ भारत के लोग अंतरिक्ष में जा सकेंगे बल्कि भारत दुनिया को यह भी दिखा सकेगा कि वह अंतरिक्ष के क्षेत्र में कितना आगे निकल चुका है।

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