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व्हिक्सी बनाने वाली एलाइड ब्लेंडर्स का आईपीओ 25 जून को खुलेगा, मूल्य दायरा 267-281 रुपये प्रति शेयर

नई दिल्ली
 ऑफिसर्स चॉइस व्हिस्की बनाने वाली कंपनी एलाइड ब्लेंडर्स का 1,500 करोड़ रुपये का आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) 25 जून को खुलेगा। कंपनी ने  इसके लिए मूल्य दायरा 267-281 रुपये प्रति शेयर तय किया।

कंपनी ने घोषणा करते हुए कहा कि आईपीओ 25 से 27 जून तक खुला रहेगा। एंकर (बड़े) निवेशक 24 जून को शेयर खरीद सकेंगे।

ब्रोकिंग कंपनियों ने निर्गम के बाद कंपनी का बाजार पूंजीकरण 7,860 करोड़ रुपये आंका है।

आरंभिक शेयर-बिक्री में 1,000 करोड़ रुपये मूल्य के नए इक्विटी शेयरों का निर्गम है। इसके अलावा, प्रवर्तकों द्वारा 500 करोड़ रुपये के शेयरों की बिक्री पेशकश (ओएफएस) भी है।

ओएफएस के तहत, बीना किशोर छाबड़िया, रेशम छाबड़िया, जीतेन्द्र हेमदेव और नीशा किशोर छाबड़िया शेयर बेचेंगे।

नए निर्गम से प्राप्त 720 करोड़ रुपये की राशि का उपयोग कर्ज भुगतान के लिए किया जाएगा। इसके अलावा, एक हिस्सा सामान्य कॉरपोरेट उद्देश्यों के लिए उपयोग किया जाएगा।

दिसंबर, 2023 तक कंपनी के खातों पर कुल कर्ज करीब 808 करोड़ रुपये था।

 

 

डीजीसीए ने समुद्री विमान परिचालन के लिए नियमों को आसान बनाया

मुंबई

विमानन नियामक डीजीसीए ने सरकार की प्रमुख क्षेत्रीय हवाई संपर्क योजना ‘उड़ान’ के तहत समुद्री विमान परिचालन से जुड़े नियमों को आसान बना दिया है।

नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने बृहस्पतिवार को बयान में कहा कि संशोधित मानदंड बुनियादी ढांचा प्रक्रियाओं, पायलट प्रशिक्षण जरूरतों और विनियामक अनुपालन को सुव्यवस्थित करेंगे। इससे दूरदराज के क्षेत्रों तक समुद्री विमान सेवाओं के पहुंचने का रास्ता साफ होगा।

संशोधित विनियमों में समुद्री विमान परिचालन के लिए आसान प्रशिक्षण आवश्यकताएं और सरलीकृत अनुमोदन प्रक्रियाएं शामिल की जाएंगी।

डीजीसीए ने कहा, “डीजीसीए कार्य समूह द्वारा उक्त विनियामक ढांचे को युक्तिसंगत बनाने और उसमें संशोधन की सिफारिश के बाद संशोधित विनियम लागू किए गए हैं।”

नए मानदंडों के तहत, वाणिज्यिक पायलट लाइसेंस (सीपीएल) वाले पायलट अब विश्व स्तर पर किसी भी आईसीएओ से मान्यता प्राप्त प्रशिक्षण संगठन में प्रशिक्षण लेकर ‘सीप्लेन-रेटेड’ पायलट के रूप में अर्हता प्राप्त कर सकते हैं।

इसके अलावा, सहायक भूमिकाओं के लिए नए प्रशिक्षण अवसरों से देश भर में समुद्री विमान केंद्रों पर रोजगार की संभावनाएं बढ़ेंगी।

 

 

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